हर सांस में मांगी हो, जिसने मौत तुझसे पहले
वो तुझसे जुदा होने के ग़म को कैसे सहले?
तुझको तो दिखती है बस मिट्टी तेरी क़ब्र की
उसको तो ये बतादे, कैसे जिये अकेले ।
अश्क़ों में बह गया वो, बूंदों के चले रेले
तन्हाई के अंधेरे चारों तरफ हैं फैले
नही बस में दिल है उसका, आया था तुझसे मिलने
कभी न भर सकेंगे, तूने दिए वो छाले....
तुझको तो दिखती है बस मिट्टी तेरी क़ब्र की
उसको तो ये बतादे, कैसे जिये अकेले ।
-तरन्नुम
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